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kalpana gaikwad

Tragedy

3  

kalpana gaikwad

Tragedy

खून के रिश्ते

खून के रिश्ते

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खून के रिश्ते भी लगते अब बेगाने से

कितनी साँसे बची हैं बाकी किसको अब समझाऊँ मैं

सात समुंदर पार बसे हैं मेरे दिल के टुकड़े

काँधे पर सिर रखकर सोते थे जो कभी

उंगली पकड़ जो राह थे चुनते

कहानी मेरी जिनको थी सुलाती

कैद कर गये मुझे अब पत्थर

की दीवारों में!!! 

तस्वीरों से अब बतियाता हूँ

बीमारी में अस्पताल खुद पहुँच जाता हूँ

दानदाताओं की तरह बिल भी मेरे

बच्चे ओनलाईन जमा कर देते हैं

इलाज मेरी तन्हाई का भला करे अब कौन

यादें भी ले चली अब मुझे पीछे की और

आओ यादें गले लगाकर तुमसे

बातें अब कर लूँ चार

पता नहीं अब कब होगी

मेरे अपनों से मुलाकात



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