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Mrs Trupti Waingankar

Drama

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Mrs Trupti Waingankar

Drama

घायल

घायल

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एक ही पल में सारा जीवन पाया

और दूसरे ही पल में सब बिखर गया,

कश्ती नहीं डूबती सागर में

बस एक हवा का झोंका आया...


कश्ती तो डूबती गई सागर में

छाया अब तो सन्नाटा है,

फूल तो चुन लिया बगिया से

लगा हाथ वह काँटा है...


फिर भी, काँटों से हमने

दोस्ती का रिश्ता निभाया है,

आँसू ही मिले हर कदम

और न बस कुछ पाया है...


किनारे तो नहीं आ सकती कश्ती

अब दूर बहुत जग सारा है,

सागर के पानी में जल रहा

घायल हृदय हमारा है...!


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