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Sankit Sharma

Romance Others

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Sankit Sharma

Romance Others

नज़र आता है

नज़र आता है

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रुखसत मेरे दीदार से, अरमान नजर आता है

तेरी आंखों के नूर में मुझे चांद नजर आता है 


फरोंजा इश्क़ है उनका, मैं कायल हूं इसका

मेरी यादों का इसमें, अंजाम नजर आता है 


वो चलते है जिस चमन, वहां बहार खिलती है

उनके आंचल तले मुझे बागबां नजर आता है 


देखता हूं उन्हें तो तस्कीन मिलती है दिल को 

बंधे उनके होठों तले, एहतिराम नजर आता है 


बेफीतूरी है सांझ से सवेरे उनकी ही यादों की

धूप के साए में भी उनका निशां नजर आता है 



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