निद्रा
निद्रा
गधे, घोड़े और हाथी,
मैं सब बेच कर सो जाऊंगा।
तुम उठा कर दिखना,
मैं सो कर दिखाऊंगा।
तुम पानी डालना या लात मारना,
मैं तब भी चिरनिंद्रा मैं जाऊंगा।
तुम उठना मैं सोता ही रह जाऊंगा।
निद्रा इतनी गहरी होगी,
अगर यमराज जी भी बुलाने आयेंगे,
तो वो भी सिर्फ उठायेंगे परन्तु,
वो नींद से उठा नहीं पाएंगे।
वो भी बस आवाज लगाते रहे जायेंगे।
हमारे निद्रा अस्त्र को देख कर,
वो भी मन मसोस कर रह जाएंगे।
निद्रा अस्त्र मैं भी चमत्कार है,
सोते रह जाओ, बाकी सारी दुनिया बेकार है।
इस अस्त्र का उपयोग मुझे स्वयं पर दिखाना है,
कल गधे, घोड़े बेचे थे,
आज पूरा जंगल बेच कर आना है।
ऊपर जाने पर यमराज कहेंगे,
है मनुष्य तुम नर्क की आग में जलोगे,
मैं कहूंगा मैं तो सोता रहा जाऊंगा,
आप मुझे कैसे तलोगे?
गहन निद्रा मैं पीड़ा नहीं होती।
फिर यमराज जी ने कहा
है मनुष्य, नर्क की आग की कोई सीमा नहीं होती।
फिर मैंने कहा मैं सो रहा हूं आप जलाओ।
अगर मैं जीत गया तो चमत्कार हो जाएगा ।
आधा नर्क लोक मेरे साथ ही सो जाएगा।
फिर लोगों के मृत्यु के खाते आप ही बनाना?
इसलिए कह रहा हूं ,
फिर ना कहना कि नरक की आग में है जलाना ,
जलाओ! मुझे तो बस थोड़ी देर में सो जाना है।
इस बात को सुनकर यमराज जी थोड़ा घबराए,
और हमको तुरंत धरती लोक पर छोड़ा आये।
बोले कि तेरी नींद को अब विचलित नहीं करना है,
मैं जा रहा हूं मेरे पास 10 समस्याएं हैं मुझे उन से लड़ना है।
भिंडी तोरई लौकी यह सब खरीद कर ले जाऊंगा,
मैं भी बहुत थक गया हूं ,
यमलोक में जाकर मैं भी सो जाऊंगा।
