अगले जन्म मोहे कुत्ता कीजो
अगले जन्म मोहे कुत्ता कीजो
कल मिलने गया एक मित्र से, जिसके घर कुत्ते पलते थे,
धीमे बोलो! सुन ना ले क्योंकि, वो उनको बच्चे कहते थे।
जाने कितने बार उन बच्चों ने, सब की जान निकाली थी,
पर सच कहूं तो किस्मत उनकी, मुझे जलानेवाली थी।
महंगा खाना खाते थे, और महंगी गाड़ी में सैर को जाते थे,
हम तो अपने घर में भी, कहने को इज्जत कुत्ते सी पाते थे।
कुत्ते सी जिंदगी कह, हम अक्सर पहले उपहास करते थे,
कुत्तों की इज्जत देख वहां, एहसास गलत अब लगते थे।
कुत्ता कह कर अब तक हमने, ख़ुद को धोखे में फेंटा था,
मित्र बैठा था धरती पे, औ कुत्ता ठाठ से सोफे पे लेटा था।
कोई किसी को कुत्ता कहता है, तो मुझको आंसू आता है,
जाकर देखो तुम भी, कुत्तों का क्या ठाठ बाट से नाता है।
हे प्रभु मेरे पुण्य के बदले में, बस तुम मुझको इत्ता दीजो,
अगले जन्म में मोहे, मेरे मित्र के घर ही एक कुत्ता कीजो।