STORYMIRROR

vijay laxmi Bhatt Sharma

Drama

3  

vijay laxmi Bhatt Sharma

Drama

तेरा प्यार

तेरा प्यार

1 min
250

मिल गई थी जिंदगी में कभी घुल कर

एक बूंद तेरे प्यार के एहसास की

मैंने उम्र की तमाम 

कड़वाहट अमृत की तरह पी ली

ना छोड़ेंगे एक दूसरे का साथ


रहेंगे यूं जैसे दिन में विलीन रात

जन्मों जन्मों तक साथ की कसम

फिर शुरू मजबूरियों की कहानी

अब तुम उठाते हो जो जाम


महफ़िल में अपनों की बैठ

मुझे लगता है उस प्याले में

मेरे सभी अरमान पी रहे हो

मेरी छलकती आंखों से भर

उनमें मेरा दिल नादान पी रहे हो


उनके साथ भी जो तुम हंस के जी रहे हो

अनजाने में मेरा ही तो कफ़न सी रहे हो

किसी और मोड़ पर अब ये दास्तां ना होगी

मेरे मरने के बाद ही अब मेरी पहचान होगी।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Drama