शौंक
शौंक
छोड़ कर चले गए वो हमें इस कदर,
जैसे हम उनके लिए एहमियत ही नहीं रखते।
प्यार तो हम उनसे इस कदर करते थे,
कि आज मौत के खौफ से भी नहीं डरते।
पहचान कर वो हमें अपने से अंजान कर गए,
जैसे हम उनसे कोई ताल्लुक ही नहीं रखते।
जुआ खेलना शुरू कर दिया है मैने ज़िन्दगी का,
चाहे हम उसे खेलने का शौंक नहीं रखते।
खुदा कहे तो वो कबूल हैं हमें,
पर हम उनकी ज़िंदगी में कोई जगह नहीं रखते।
इज़्ज़त उनकी नहीं करनी चाहिए जनाब,
जो इज़्ज़तदार कहलाने का हक नहीं रखते।