जिम्मेदारी
जिम्मेदारी
आह की आवाज कलेजे को चीर गई
पानी उठाने की कोशिश में माँ
चारपाई से गिर गई
सुबह से शाम तक काम की तलाश में भटके
अब तो रहम कर ऐ जिंदगी
और ना दे झटके
एक दुर्घटना में पिता ने साथ छोड़ा
माँ का ही है अब सहारा
थोड़ा
इतना तो दे ऐ ख़ुदा
क्या तूने
समझा है मुझे इस जहां से जुदा
दूर कर दे मेरी सब लाचारी
इतनी बरकत दे कि कर पाऊं
दूर मां की बीमारी
निभा पाऊं अपनी हर "ज़िम्मेदारी"