भारत मां के लाल
भारत मां के लाल
भारत मां लाल तेरे बड़े मतवाले हैं,
देते हैं बलिदान ये सच में कितने बड़े दिल वाले हैं।
अपनी शादीशुदा जिंदगी भी यादों में काट लेते हैं,
भारत मां से प्यार है जान उस पर लुटा देते हैं।
रक्षाबंधन पर बहना मनपसंद पकवान बनाती है,
चुन-चुन कर प्यारी मोतियों की राखी वह बनाती है।
पोस्टमैन से वह सरहद पर राखी भेजवाती है,
आंसू बहाती है भाई को तिलक लगाने को तरस जाती है।
बुलावा जब सरहद से आता है,
अपनी शादी भी छोड़ चला वह जाता है।
मां बाप की चाहत थी बजे सर पे सेहरा,
चाहत को भूल वह कफ़न में लिपट आता है।
दिल पर पत्थर रख फौजी बेटे को विदा करते हैं,
बड़े दिलवाले हैं जो दिल के टुकड़े जुदा करते हैं।
