#Thankyou Teacher
#Thankyou Teacher
जब मैंने बी.एड में एडमिशन लिया,
किस्मत ने मुझे मेरी शीनू मैम से मिला दिया।
संस्कृत मुझे शुरू से ही काफी पसंद था,
मेरा विषय बी.एड में सब बच्चों से अलग था।
प्रधानाचार्य बोली एक बच्चे को कोई कैसे पढायेगा,
तुम विषय बदल लो दूसरा विषय मिल जाएगा।
तभी शीनू मैम ने कहा कि मैं इसे पढ़ाऊंगी,
इसको इसी विषय से मैं बी.एड कराऊंगी।
मुझे लाइब्रेरी में पढ़ाया करती थी,
हर विषय की तरह मुझे पूरा समय दिया करती थी।
हर बात को उदाहरण के साथ समझाती थी,
उनकी बताई बातें मेरी समझ में अच्छे से आ जाती थी।
जिस दिन वो कॉलेज में नहीं आती थी,
मेरी नजरे उन्हें ढूंढती रह जाती थी।
उनकी वो प्यारी सी मुस्कान आज भी नजरों में समाई है,
कविताएं लिखनी भी मुझे उन्होंने ही सिखाई है।
मेरी गुरु,बड़ी बहन और दोस्त जैसी बन गई थी वो,
मुझे जीवन में हर जगह प्रोत्साहित करती थी वो।
बी.एड के बाद भी उनसे मेरी बातें होती रही,
मुझे हमेशा मुस्कुराहटों के साथ जीना सिखाती रही।
अभी दो माह पूर्व मुझे यह खबर मिली,
कि मेरी प्यारी मैडम अब इस दुनिया में नहीं रही।
पर हर पल हर घड़ी आज भी वो मेरे साथ है,
मेरी कविताओं में उन्हीं का जिक्र और उन्हीं की बात है।