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Yogesh Kanava

Romance Others

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Yogesh Kanava

Romance Others

मेरे कपोलों‌ पे कविता कर‌ लो‌‌ तुम

मेरे कपोलों‌ पे कविता कर‌ लो‌‌ तुम

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सागर पीड़ा का मुझ में उमड़ आएगा

मन की पीड़ा को आज हर लो तुम

वक्त कुछ और यूं ही गुज़र जाएगा

पास आ के बातें चार कर लो तुम

भ्रमर आँखों का कुछ बहक जाएगा

मेरे नैनों से नैना चार कर लो तुम

सुर सांसों‌ की सरगम‌ का संवर जाएगा

मेरे अधरों पे अधर धर लो तुम

रंग कलियों का कुछ और निखर जाएगा

मेरे कपोलों‌ पे कविता कर‌ लो‌‌ तुम



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