STORYMIRROR

Rinku Bajaj

Romance Tragedy

2  

Rinku Bajaj

Romance Tragedy

जज्बात

जज्बात

1 min
259


क्यों गुम जाते है जज्बात अक्सर

जो कभी दिल का जुनून होते है

पल पल गिनते है जिनके लिए

और जो दिल का सुकून होते है !


बेरहम वक़्त के हाथों से अक्सर

बेगुनाह रिश्तों के खून होते है

चाहत का क्या फिर कीजे

कहाँ इसके कोई कानून होते है !


लगाव बहुत हो जिनसे अक्सर

घाव भी बहुत वो खूब देते है

उम्मीद चाहत की क्या फिर कीजे

बस कहने को महबूब होते है !


यकीन जहाँ होता है अक्सर

मोल भी बहुत वो खूब लेते है

अग्नि परीक्षा है ये चाहत

बेयक़ीनी का सुबूत देते है !


दिल पर लग जाती है अक्सर

शायद न लगने वाली भी बातें

मरहम बन जाती है चाहत

जब फूलों सी खुशबू देती है !


नाज़ुक से होते है अक्सर

चाहतों के ये एहसास मगर

बंधन मत समझना इनको

ये तो दिल का सुकून होते है !


क्यों खो जाते है जज्बात अक्सर

जो कभी दिल का जुनून होते है

और जो दिल का सुकून होते है

उनके कहाँ कोई कानून होते है !!


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Romance