इंतज़ार
इंतज़ार
हम भी थे कुछ काम के
हम भी थे कुछ नाम के
कुछ इस कदर खो गए
जुड़ के तेरे नाम से
ढूंढते हैं गली गली
ढूंढते हैं शहर शहर
कहीं तो मिलोगी तुम
कोई तो बताएगा घर
थम गए हैं रास्ते
हम नहीं थके मगर
अब आखिरी एक आस है
तेरी तस्वीर मेरे पास है
कुछ पल है मेरे ख़्वाबों में
लिखता रहूंगा तुझे क़िताबों में