हमसफ़र
हमसफ़र


समुन्दर के अथाह जल में,
तेरे अश्कों की कहानी मिली।
निर्मल नदी की धारा से,
तेरे प्यार की निशानी मिली।
रेत पर मिले पदचिह्न तेरे,
मेरे ख़याल में कोसों तक गये होंगे,
इन मदमस्त हवाओं से मुझे,
तेरी खुशबू सुहानी मिली।
तकता रहा रातों में चाँद को,
तेरी यादों का सहारा मिला।
मोहब्बत के भँवर में था,
तेरे प्यार का किनारा मिला।
बंदिशों को कहाँ तोड़ पाया,
गजब का था ताना बाना,
लगा तुम हो हमसफ़र मेरे,
न तुम सा कोई प्यारा मिला।