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Shakshi Kumari

Classics Inspirational Thriller

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Shakshi Kumari

Classics Inspirational Thriller

वो वक्त भी आएगा

वो वक्त भी आएगा

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एक दिन वो भी वक्त आएगा,

जब तुझे मेरी याद आएगी  दिल में दर्द होगा,

मगर तेरी जुबान कुछ बोल ना पाएगी।


आज रोने का वक्त मेरा है,

कल तेरी भी आएगी       

बद्दुआ नहीं दे रही हूं तुझे,

मगर ये वक्त खुद को तो दोहराएगी।।


हाँ तु कभी दर्द में हो,

ये मैं मरते दम तक नहीं चाहुंगी।   

मगर तुझे खुश देखने के लिए,

कब तक बिना स्वाभिमान के जी पाऊंगी।

जिस वक्त तुझे मेरी तड़प समझ आए,

शायद मैं उस वक्त नहीं रहूंगी

पर तु खुद से सबर जाए,

ये दुआ मैं मर के भी करूंगी।।


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