हम भी साथ चल देंगे उनके साथ होंगे विदा दोस्तो उनके बिना हम भी अलविदा हम भी साथ चल देंगे उनके साथ होंगे विदा दोस्तो उनके बिना हम भी अलविदा
हर रात सो कर भी जागूँ जिनके लिए, ऐसे मीठे वो सपने हों। हर रात सो कर भी जागूँ जिनके लिए, ऐसे मीठे वो सपने हों।
देश से बढ़कर कुछ नहीं । देश से बढ़कर कुछ नहीं ।
उनकी बुद्धिबल को भी कोई नया सवेरा देते। उनकी बुद्धिबल को भी कोई नया सवेरा देते।
वहां बंदिशें कैसी भी हो किसी भी तरह की हो रूहानी हो जाती है। वहां बंदिशें कैसी भी हो किसी भी तरह की हो रूहानी हो जाती है।
तेरे जैसी सभी माताओ को मैं तो दंडवत प्रणाम करूँ ! तेरे जैसी सभी माताओ को मैं तो दंडवत प्रणाम करूँ !