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Prem Bajaj

Fantasy

4  

Prem Bajaj

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उम्र भर का साथ

उम्र भर का साथ

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जब हाथों में हो हरदम तेरा हाथ, रहे तेरा - मेरा उम्र भर का साथ,

 ना रहे फिर कोई चिंता-फिक्र, ना सताए कोई ख़लिश कांटों की, 

लगे कांटे भी फूलों की बरसात, तेरा साथ है प्यार की सौगात,जब हाथों में हो हरदम तेरा हाथ।


कर लेंगे कांटों से दोस्ती हम, तेरे सामने फूलों की नहीं कोई औकात, 

हर मुश्किल डगर बन जाए आसान, जब हो तेरा साथ,

 तु चले तो ये सूरज -चांद चले, तु ही मेरा अंजाम, तु ही आगाज़,


तुझसे चले सांसें, धड़के दिल, तुझसे ही हर जज़्बात,

महके ये जीवन बगिया, जब हाथों में हो हरदम तेरा हाथ, 

तुम जो दो साथ तो तुफानों का रूख भी मोड़ने की हिम्मत आ जाए, 


अगर भटक जाएं हम भंवर में तो किनारा भी खुद पास आ जाए, 

भूल जाएं हम ग़म सारे खुशियां लहलहाएं, 

ऐसा लगे जैसे मिल जाए हमें खुदा का साथ, जब हाथों में हो हरदम तेरा हाथ।


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