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Pathik Tank

Tragedy

3  

Pathik Tank

Tragedy

पुल

पुल

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गिरा था एक हिस्सा पुल का

हिस्से में दब गया जहाँ उसका


अनुस्नातक में स्वर्ण पदक जीती थी

वो पदवी आज तुम पे चीखी थी 


अपनों की जान की अज़मत नहीं जानते थे

ये लोग तो बस अपना क्लाइंट ढूंढने आये थे


शहर में एक नया पुल जो बनेगा

लोगो को लूटने का बहाना मिलेगा


सरकारी अधिकारी जाँच समिति बिठाएंगे

सारे उत्तराधिकारी निर्दोष पाए जाएंगे


फ़िर उस पुल का टेंडर दोबारा निकाला जाएगा

स्वाभिमान को बचाने का ढोंग किया जाएगा


चर्चा की शुरुआत बड़े बे ढंग तरीके से हुई थी

इंसान से पहले तकनीक को तवज़्ज़ो दी थी


जान माल के नुकसान की कोई बात नहीं हुई थी

टूटे हुए ब्रिज के काम को पाने की कोशिश हुई थी


न कोई खलिश न चहरे पे कोई मातम था

लगता है उन्होंने कोई अपना नहीं गवाया था


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