" पढ़ना मेरे तुम बच्चे "
" पढ़ना मेरे तुम बच्चे "
पढ़ना मेरे तुम बच्चे,
पढ़ने से तुम बड़े बनोगे,
जो पढ़ेगा नहीं तो वो,
मजदूर बनकर जिएंगे,
पढ़-लिखकर नाम कमाकर,
मां बाप का नाम रोशन करोगे,
पढ़ना मेरे तुम बच्चे,
पढ़ने से तुम बड़े बनोगे,
बच्चे:-
क्या पढ़ें हम इस करोना में,
स्कूल मेरी तो बंद है,
क्या सीखेंगे ओन लाइन में,
मन तो भटक ही जाता है,
क्या पढ़ें हम इस करोना में,
माता:-
थोड़ा तुम सब्र करो बच्चों,
यह मुश्किल भी टल जायेगी,
थोड़ी महेनत ज्यादा करना,
आज नहीं कल स्कूल जाओगे,
पढ़ना मेरे तुम बच्चे,
पढ़ने से तुम बड़े बनोगे,
जो नहीं पढेगा बच्चों,
खाना नसीब ना पाओगे,
फिल्म:- सरस्वती चंद्र
फूल तुम्हें भेजा है ख़त में
फूल नहीं मेरा दिल है
प्रियतम मेरे तुम भी लिखना
क्या ये तुम्हारे क़ाबिल है।