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Sumit. Malhotra

Tragedy

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Sumit. Malhotra

Tragedy

क्या है मेरी पहचान

क्या है मेरी पहचान

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क्या है मेरी पहचान, 

हर नारी तो परेशान। 


मायका भाईयों का, 

सुसराल है बेटो का। 


कोई भी न पहचान, 

तलाश रही पहचान। 


स्त्री का घर कहाँ है, 

नहीं मिला है जवाब। 


सुसराल वाले मायके, 

मायके वाले सुसराल। 


भेजते होकर परेशान, 

नारी को करें परेशान। 


नारी चाहे घरेलू होती, 

नारी चाहे नौकरीपेशा। 


कोई भी नहीं पहचान, 

ढूंढने जाती है पहचान।


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