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Hariom Kumar

Drama

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Hariom Kumar

Drama

भटकने दो उसे

भटकने दो उसे

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सुबह का भूला परिंदा है, भटकने दो उसे,

शाम ढ़लने तलक आएगा, भटकने दो उसे,


लाख तू रोक ले समझा ले न मानेगा वो पर,

ठोकरें खा के ही संभलेगा, भटकने दो उसे,


नई है उम्र, नया जोश, ये बदलाव नया,

वक्त के साथ ही समझेगा, भटकने दो उसे,


तैरना सीखेगा कैसे बिना दरिया में गए,

डूबते-डूबते तैरेगा, भटकने दो उसे।


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