बौनी उड़ान
बौनी उड़ान
एक मनुष्य अपने जन्म से लेकर मृत्यु तक लाखों आयामों से होकर गुजरता है , और हर आयाम की शुरुआत रफ्ता रफ्ता कोशिश करने से होती है।
जैसे पैसों से रुपया , रुपया से सौ , सौ से हजार , हजार से लाख उसी तरह
और ऐसी ही रफ्ता रफ्ता कोशिश से लाखों आयामों पूरे करने के बाद उसे एक जीवन की सबसे खूबसूरत मंजिल मिलती है , वो चाहे कैसी मंजिल हो ।
और उसे पाकर वह बेहद खूबसूरत जीवन का आगाज करता है जो अंजाम तक बेहतर होता है।
मनुष्य का जीवन सार्थक होना चाहिए , जिसमें विराट से पहले , लघु भावनाओं का सम्मान हो।
बौनी उड़ान... जैसे एक बच्चा अपने नन्हे - नन्हे क़दमों से चलते - चलते तेज़ी से दौड़ने लगता है।
उसी प्रकार हम सभी अपने जीवन में अपने छोटे-छोटे कार्यों से बड़ा मुकाम हासिल करते हैं और इसी को बौनी उड़ान कहते हैं। इस संसार में ऐसी अनगिनत कहानियां हैं,
जिन्होंने बौनी उड़ान भर कर दुनिया को दिखला दिया कि:
" मौत का बेरहम, इतिहास बदल सकते हो
पुण्य में पाप का, विश्वास बदल सकते हो
अगर कर लो, अपनी बाहों पर भरोसा
तो यह धरती है, तुम आकाश में बदल सकते हो।"