ज़िंदगी के पल
ज़िंदगी के पल
सजाकर रखना होता है
हर पल को ज़िंदगी के पहलू में कुछ इस तरह कि अर्से बाद भी लगे
जैसे सहेज रखी हो ज़िंदगी किसी ने प्यार से आँचल में अपने,
और आज भी झिलमिला रहे हैं उसमें कुछ अधूरे कुछ पूरे सपने,
जिनसे यादों के वो धागे जुड़े हैं जो आज भी हर रिश्ता संजोय हुए हैं
और हम उन पलों की रोशनी में सदा खोये हुए हैं।

