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नवल पाल प्रभाकर दिनकर

Romance

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नवल पाल प्रभाकर दिनकर

Romance

तमन्ना हो मेरी

तमन्ना हो मेरी

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हाँ, तुम ही तो हो,

हर खुशी हो मेरी,

हर वो आरजू,

हर तमन्ना हो मेरी ।


जिन्दगी के पथ पर

चला हूँ पथिक बनकर,

मेरे इस कांटों भरे

कठिन राह की---

मंजिल तुम हो मेरी।


हर वो आरजू,

हर तमन्ना हो मेरी।


हरियाली की झलक,

खुशहाली की ललक,

जीने की हर कसक,

तुम में दिखती है,

जिन्दगी तुम हो मेरी।


हर वो आरजू,

हर तमन्ना हो मेरी।


हर क्षण हर पल,

हर पग हर कदम,

सोचता हूँ तुझे हरदम,

सिकुडते हुए जीवन की,

तुम तो सांसे हो मेरी।


हर वो आरजू

हर तमन्ना हो मेरी।


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