Yashwant Nagesh

Action

2.8  

Yashwant Nagesh

Action

स्वतंत्रता सेनानी

स्वतंत्रता सेनानी

1 min
3.5K


हम हवा के झोंके हैं,

यूं मुट्ठी में समेटे नहीं जाते।


हम आजाद पंछी हैं आसमानों के, 

यूं आसानी से किसी के हाथ नहीं आते।


बिजली की गड़गड़ाहट से

किसी की झोली पर यूं बरस नहीं जाते।


हम बारिश का सैलाब हैं

क्यारियों में सिमटे नहीं जाते।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Action