STORYMIRROR

Rashmi Lata Mishra

Drama

3  

Rashmi Lata Mishra

Drama

शतरंज

शतरंज

1 min
352

दुनिया एक शतरंज की बिसात है

शतरंज की तरह यहां के सिपाही,

ऊंट घोड़े वजीर सभी अपने-अपने,

पदों पर आसीन रहते हैं।


अपने कर्म में तल्लीन 

पर ज्यों-ज्यों प्रतिस्पर्धा में

आगे बढ़ते जाते हैं

एक दूसरे को कुचलते जाते हैं।


 विजय की चाह में

 राजनीति तो पूरी तरह

शतरंज की बाजी है

जहां खेलते हैं नेता दांव।


दांव पर लगी होती है जनता

उनके वाहनों के प्रलोभन में 

बांध पट्टी आंखों पर

अपने ही प्यादों को

रौंद जब पहुंचती है,


करीब तो पाती है

शतरंजी नेता किसी के नहीं

वह सारे प्यादों को मार

 केवल अपनी कुर्सी पर

खड़े मुस्कुरा रहे हैं

चेहरे पर विजए मुस्कान लिए।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Drama