राजनीति और शिक्षा
राजनीति और शिक्षा
संसद में किसी औरत को कुछ बोलो तो
उसे अपमान का रूप दिया जाता है
सरेआम लड़कियों को छेड़ते हैं तो भी
बिगड़ी औलाद हो को सम्मान दिया जाता है !
छोटे मुद्दों को भी बड़े शातिर से
बढ़ा चढ़ा कर दिखाना इन्हें आता है
और बड़े-बड़े गुनाहों को भी
सरेआम दबाना इन्हें आता है!
बहुत बदलाव आया है हमारे देश में क्योंकि
राजनीति करते नहीं बल्कि खेला करते हैं
पहले गुनाहों का खात्मा करते थे पर
अब ना चाहकर भी इसे झेला करते हैं!
बड़ी बड़ी डिग्री दिखानी पड़ेगी
पैसे नहीं है तो वो तुम्हारी मजबूरी है
जिंदगी में रोजगार कमाने के लिए
शिक्षित होना तो बहुत जरूरी है!
राजनीति में कुछ करें या ना करें पर
वोट के समय मुलाकात याद आती है
डिग्री छोड़ो, शिक्षा तक कोई पूछता नहीं
जब देश चलाने की बात आती है!