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Ranjana Mathur

Drama

3  

Ranjana Mathur

Drama

मन कहे मेरा

मन कहे मेरा

1 min
331


माँ मुझको दूसरे घर नहीं जाना है

मां मैं तो थी तेरे दिल का टुकड़ा

कह देती थी तुझसे मन का हर दुखड़ा

आज तू क्यों छिपा रही मुझसे मुखड़ा

मां तुझको अपना दुखड़ा सुनाना है

रोक लो न मुझे

मां मुझको दूसरे घर नहीं जाना है

हूँ फिर भी मैं पराई यह झुठलाना है 


पापा आप का तो मुझ पर बरसता था प्यार

आप कहते थे मुझे घर का श्रृंगार

छाया रहा करता था मुझ पर आपका दुलार

आप का यही लाड दुलार मुझे हरदम पाना है

रोक लो न मुझे

पापा मुझको दूसरे घर नहीं जाना है

हूँ फिर भी मैं पराई यह झुठलाना है 


भैया तुमको तो मैं थी सबसे प्यारी

हर पल मुझे ढूंढती थी अँखियाँ तुम्हारी

बांटा करते थे तुम मुझसे सुख दुख की बातें सारी

भैया मत भेजो मुझे,

वहां मेरे लिए सब अनजाना है

रोक लो न मुझे

भैया मुझको दूसरे घर नहीं जाना है

हूँ फिर भी मैं पराई यह झुठलाना है 


नन्ही बहना प्यारी बहना

तू तो सुन ले मेरा कहना

तुझे क्या मुझसे अलग है रहना

अब तुझे ही मेरा साथ निभाना है

रोक ले न मुझे

बहना मुझको दूसरे घर नहीं जाना है

हूँ फिर भी मैं पराई यह झुठलाना है।


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