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Neha Pandey

Tragedy Others

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Neha Pandey

Tragedy Others

मेरे हक में नहीं

मेरे हक में नहीं

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यूं बेरुखी तुम्हारी 

अच्छी नहीं ,

हाल पूछो ज़रा 

हमसे भी कभी ,

क्या कहानी हमारी

सच्ची नहीं।


मेरे हक में नहीं

तेरे दिल की जमीं ,

कैसे रखूं उस मकां पर कदम

जिसकी नींव मैंने रक्खी नहीं।


गमज़दा जिंदगी से

शिकायत नहीं , 

हैरत तो हुई हमें

इस बात से ,

मर्ज हुआ भी तो ऐसा

जिसकी कोई दवा ही नहीं ।



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