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Brijlala Rohan

Tragedy

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Brijlala Rohan

Tragedy

मानवता को शर्मसार करने वाली

मानवता को शर्मसार करने वाली

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मानवता को शर्मसार करने वाली अमानवीय घटना को

 वीभत्स कहकर 

पल्ला झाड़ लेना ,

खेद प्रकट कर देना !

क्या यही उत्तरदायित्व है कुर्सी पर बैठे जवाबदेह सत्ताधीशों की ?

क्या इसमें न्याय की उम्मीद दिखती है ?

अगर कुछ त्वरित कार्रवाई हो तब न्याय की उम्मीद भी दिखती है !

बहरहाल गनीमत इस बात की है कि सत्ता के सौदागरों द्वारा इसे वीभत्स घटना भी तो कहा गया।

कम-से-कम ये परिपाटी भी तो लोकतंत्र में अभी प्रचलन में है ! 

 


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