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Listeners Love

Romance Classics Fantasy

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कैसे बताऊं...मेरी कौन हो तुम ?

कैसे बताऊं...मेरी कौन हो तुम ?

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किरणें बिखेरती सुबह, प्यारी सी शाम भी तुम

हर सुबह का ख्याल, रात की चांदनी भी तुम

इस सर्दी में भी तुम, इस बारिश में भी तुम

उस कड़कती धूप में, एक छावों भी तुम


मेरा मुक्कदर तुम और मेरी मंज़िल भी तुम

मेरा रास्ता भी तुम, मेरी साजिश भी तुम

मेरा प्यार भी तुम, तुम्ही मेरी हर दुआ हो

तुम्ही हर फ़र्ज़ में हो, तुम्ही मेरे दर्द में हो


मेरा चैन भी तुम, मेरी आरज़ू भी तुम,

मेरा आकाश भी हो और क्षितिज भी तुम

तुम ही धड़कन और मेरी हर सांस में तुम

गम के आंसू, ये मुस्कुराहट भी हो तुम


आंखों की मस्ती, पलकों की निराशा तुम,

कविताओं में और इन लिखावट में भी तुम

कैसे बताऊं..! कि मेरी कौन हो तुम ?


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