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SONI RAWAT

Romance

4  

SONI RAWAT

Romance

जुल्फें

जुल्फें

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तेरी जुल्फों का साया है

जो तू मुझमें समाया है

मुझे रहने दे अब इसकी छांव में

चाहे कितना भी गम हो घाव में

इन जुल्फों को आज बिखरने दे

हवाओ के संग इन्हे उडने दे

ये जब लटे हैं तेरी उड़ रही

जान कितनों की है जा रही

चेहरे को तेरे ये जब ढक रही

धड़कने ये दिल की और बढ़ रही

ये घुंघराले - घुंघराले तेरे भूरे बाल

कर रहे हैं ये बडा ही कमाल

नज़ाकत से जो तू इतरा रही

खुली इन जुल्फों में जो तू मुस्कुरा रही 

मुस्कुराता ये चेहरा मेरी याद मे रह जाएगा

जब तेरी जुल्फों का साया याद आएगा।


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