अदाओ का तेरी हुआ मै दीवाना
अदाओ का तेरी हुआ मै दीवाना
अदाओं का तेरी हुआ मैं दीवाना,
लगने लगा है जग ये बेगाना।
मेरे मन के उजड़े चमन में आ तुमने,
फूलों की कलिया मेरी जा खिलाई।
करो कर्म इतना न अब दूर रहकर,
प्रेम वारि से यह चमन सिंचियेगा।
बिना इसको सींचे चमन सूख जाए,
बता फिर बिहंग पाएगा कहां ठिकाना।
अदाओं का तेरी हुआ मैं दीवाना ।।
जीवन हमारा तन मन तुम्ही हो
तुम्ही मेरी आहों की एक रागिनी हो।
प्रथम दर्श में ही दीवाना हुआ दिल,
तब से ये तन्हा तड़पता रहा है।
करूं कैसे भावों का इजहार अपने,
कही तुम दो ठुकरा यही डर रहा है।
तुम मुझको चाहो या चाहो कभी ना,
पर है कठिन मेरा तुमको भुलाना ।
अदाओं का तेरी हुआ मैं दीवाना ।।