वसंत फुलला
वसंत फुलला
मधु माधव ....
मधु रसे भरिला...।।
ग्रीष्माचा हा
कहर संपूनी
वसंत वनी फुलला...
मधु माधव ....
मधु रसे भरिला...।।
द्विजगण वनचर
बहु तोषले
मोद वनी भरिला
मधु माधव ....
मधु रसे भरिला...।।
फुलां फुलांवर
भ्रमर विहरती
मधुरव वनी गुंजला
मधु माधव ....
मधु रसे भरिला...।।
जनी मनी वनी
लहर उसळली
नवोन्मेष भरिला
मधु माधव ....
मधु रसे भरिला...।।
बहरला फुलला
हसला
मधु माधव ....
मधु रसे भरीला...।।