वर्षों के याराने गए
वर्षों के याराने गए
इस दिल से बचपन के तराने गए,वर्षों के याराने गए
एक-एक कर टूटी वो यारी की डोर,छोड़ हमे कुछ यार पुराने गए।
स्मृतियों में मेरी अनंत यादों के अमिट छाप छोड़ते गए
मजबूरियों को मेरी गलतियों का नाम देते गए
आँसुओं से मेरे धड़कन में एक वक्र रेखा खीचते गए
सूखती नदी एहसासों की,मुझे भींगा,अधूरा कर गए
शाखों से मेरी टहनियां कटी,घोंसले छोड़ कुछ परिंदे उड़ गए
स्वाभाविक नहीं थी ये खामोशी,हम दर्द में ऊँघते गए
कर के अधूरा इस यारी को, वर्षों के याराने गए।