सिर्फ़ ख़ामोशी
सिर्फ़ ख़ामोशी
उदास रातों की कहानी
अक्सर सिसकियाँ कह जाती हैं
बंद खिड़कियों
बंद दरवाज़ों के बीच
अक्सर गूँजती हैं ज़ोर से
बाहर न जाने क्यूँ
सिर्फ़ ख़ामोशी रह जाती है...!
उदास रातों की कहानी
अक्सर सिसकियाँ कह जाती हैं
बंद खिड़कियों
बंद दरवाज़ों के बीच
अक्सर गूँजती हैं ज़ोर से
बाहर न जाने क्यूँ
सिर्फ़ ख़ामोशी रह जाती है...!