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Anita Sharma

Romance Tragedy Classics

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Anita Sharma

Romance Tragedy Classics

पहले वाले तुम

पहले वाले तुम

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सब कुछ है ज़िन्दगी में कोई कमी नहीं,

कुछ कम है पास मेरे,तो बस पहले वाले तुम।


मेरे साथ चल रहे तुमसे जुड़े कितने रिश्ते,

कोई साथ नहीं है मेरे,तो बस पहले वाले तुम।


नज़्मों से भरी महफ़िल,रहती है गुलज़ार,

बस लफ़्ज़ों में नहीं हो मेरे,तो बस पहले वाले तुम।


आसान है ज़िन्दगीभर हाथ थाम कर चलना,

बस कुछ हाथ नहीं मेरे,तो बस पहले वाले तुम


अपना साथ होना बयाँ करता है,गहराई इश्क़ में,

बस ख्वाबों में कुछ नहीं ,तो बस पहले वाले तुम।


सुर्ख लाल हैं रंगत तुम्हारे,गुलाबों में आज भी,

रंग किसी ने बदला है,तो बस पहले वाले तुम।


कुछ मीठी यादों को,संजोकर रखा है आज भी

कुछ खो गया है मुझमें,तो बस वो पहले वाले तुम।


ज़िंदा है मेरे ज़हन में,अपने खूबसूरत लम्हे,

कोई मर गया है वहां,तो बस पहले वाले तुम।


मुस्कुराहटों में छुपा लिए हैं,अपने वो दर्द सारे,

कुछ आराम जो दिलाये,तो बस पहले वाले तुम।


इल्तिज़ा है खुदा से दुआ क़ुबूल हो मेरी,कि कुछ

मिले ना मिले बस...मिल जाओ पहले वाले तुम।


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