Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!
Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!

Amit Kumar

Romance

5.0  

Amit Kumar

Romance

My feelings for you (someone)

My feelings for you (someone)

2 mins
517


तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं,

तू मूर्ति है, या इंसां है

यही बस सोचता हूं मैं।


तेरी जो ये घटाएं हैं,

इन्हें कब पास लाओगी

तेरी आँखों के दरिया में,

हमे कब तुम बुलाओगी?


तेरा आगोश पाने का 

ये सपना देखता हूं मैं,

तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं।


तुझे छूने का सपना है

कभी इसको सजा दो तुम,

जो हमने की कोई गलती

हमें खुल कर सजा दो तुम।


हमेशा साथ तेरा हो

यही बस माँगता हूं मैं,

तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं।


तेरी मुस्कान का जादू 

हमे मदहोश करता है,

तुझे कुछ कह नहीं पाते

ये दिल हरदम ही डरता है।


तेरे संग हो हसीं पल जो

उसे ही खोजता हूं मै

तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं।


तेरे होठों की ये कोंपल 

कभी तो हमपे फूटेंगीं

तेरी यादें समुन्दर हैं

कभी हमसे न छूटेंगी।


ये कोपल कब हमें छू ले

वो लम्हा ढूंढता हूं मैं

तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं।


तेरी धड़कन की धम धम से

सदाएं गूंज जाती हैं,

जो तू नजदीक होती है

अजब सी खुशबू आती है।


तुझे महसूस करने का

वो मौसम ढूंढता हूं मैं

तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं।


तेरी आवाज का जादू

मेरे सर चढ़ के कहता है,

तेरे संग कुछ समय बीते

ये सपना दिल में रहता है।


ये आंखे बंद जब होतीं

तुझे ही देखता हूं मैं,

तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं।


तुझे देखूं या महसूस करूं

यही बस सोचता हूं मैं

तू मूर्ति है, या इंसां है

यही बस सोचता हूं मैं।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Romance