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priyanka tomar

Tragedy

3  

priyanka tomar

Tragedy

लालच भरा दौर

लालच भरा दौर

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कैसा युग कैसा दौर आया है,

किसी ने अंग तस्करी से, 

तो किसी में ऑक्सीजन से कमाया है,

जो कल तक थे भगवान का स्वरुप,

आज वो ले बैठे हैं दानव भख्शी का रूप,

बिक रहे हैं इसांन सस्ते शमशानो में भीड़ बड़ी भारी है,

सांस लेना भी दूभर हो गया है, 

न जाने कैसी है महामारी है, 

खतरे में है मानव जाति,

न जाने अब कौन इसे बचाऐगा,

इंसान ही इंसान का बन गया है दुश्मन,

अब क्या इसे बचाने कोई देव आऐगा।

              


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