क्या यही प्यार है
क्या यही प्यार है


खुद से ही मेरा एक सवाल है,
क्योंं ख्यालो में तेरा ही ख्याल है।
क्यों नजरो से दूर नहीं जाते हो तुम,
क्योंं न चाहने पर भी हर वक्त याद आते हो तुम।
क्योंं लगते हो अपने से जब हो तुम अजनबी,
क्यों लगता है ऐसा जैसे हम पहले भी मिले हैं कहीं,
क्योंं आंखों में तेरी सूरत और दिल में तेरी याद है,
क्योंं बेचैन हूँ मैं क्योंं दिल बेताब है।
क्योंं आंखों को सब कुछ नया नजर आने लगा है,
क्योंं तन्हाईयो में भी मन गुनगुनाने लगा है।
क्यों तुझे खोने के ख्याल से ही दिल मेरा घबराता है
क्योंं बेचैन हूँ मैं जाने दिल क्या चाहता है।
क्योंं लगता है ऐसा जैसे अब तू ही मेरा संसार है,
कोई तो बताए मुझे क्या यही प्यार है।