खाली मैदान
खाली मैदान
पीछे एक खाली मैदान बड़ा था ,
मुकदमें के चलते खाली पड़ा था।
उस मैदान में था कचरा ,थोड़ी घास थी
ढेर बबूल की झाड़ियां पास थीं।
मवेशियों चरने के लिए आ जाते,
पक्षी चहकते ,कुत्ते आराम फरमाते ,
बगुले भैंस की सवारी का मजा़ उठाते।
तपती धूप हटी ,पानी बरस गया,
अचानक मौसम बदल गया।
सवेरे जब आंख खोली,लगा थी बगलों की टोली।
गौर किया,झड़ियों में लटकीं थीं प्लास्टिक की थैली।