एक जोड़ी
एक जोड़ी




फ़्रिक में हर किसी की , चिन्ता में काली पड़ी
एक जोड़ी आँखे ।
विष पीती खामोशी से
भीगती एकान्त में ,एक जोड़ी आँखे ।
नेह के जल से भरी पूरी
असीम प्रेम बरसाती दो प्यारी आँखे ।
परदे सी गिरती , उठती पलकों की चौकीदारी में ,
इशारे से सब जतलाती , एक जोड़ी आँखे ।
हर पल साये सा पीछा करती ,
ना जाने क्या सोचती काजल से सजी,
एक जोड़ी आँखे ।