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आनंद कुमार

Abstract

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आनंद कुमार

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बदल जाते हैं

बदल जाते हैं

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वक्त बदल जाते हैं, हालात बदल जाते हैं,

कठिन परिस्थितियों में लोगो के जज्बात बदल जाते हैं।


अल्फ़ाज़ बदल जाते हैं, राज बदल जाते हैं,

सवारों के सवारी के जहाज़ बदल जाते हैं।


पहचाने जाते हैं जिस लिए, वो अंदाज़ बदल जाते हैं,

चलते हैं जिंदगी भर जिनके साथ, वो यार बदल जाते हैं।


चमकते रहिए जितना तेज चमक सकते हो क्योंकि,

समय आने पर लोगो के सूरज-चांद बदल जाते हैं।


पूजते हैं जिस भगवान को, वो भगवान बदल जाते हैं,

जमीन के साथ-साथ, लोगों के आसमान बदल जाते हैं।


मानते हैं ज्यादा जिस इंसान को,

कठिन समय मे वो इंसान बदल जाते हैं।


जिस आसियाने में रहते हैं लोग सालों-साल, 

उन आशियानों के पते और मकान बदल जाते हैं।


दौड़ते रहिए जिंदगी की दौड़ मे क्योंकि,

हारने के बाद लोगों के रुझान बदल जाते हैं।


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