अब तुम ही बताओ
अब तुम ही बताओ
तुम्हारी परियो की कहानी मुझे तंग करती है और पूछती है
क्या किसी की खामियों से भी प्यार किया जा सकता है ?
क्या किसी का लम्बा इंतज़ार करना मौत के बुलावे से ज्यादा कठिन है ?
क्या जी भर के प्यार करने के लिए एक ही जीवन पूरा होता है ?
क्या इंसान एक ही इंसान से प्यार करते - करते ऊब नहीं जाता ?
क्या याद आने पे दोनों तरफ ही धड़कन तेज़ हो जाती है ?
अब तुम ही बताओ मैं खुद क्या समझूँ और उन्हें क्या समझाऊँ.....।