फिर याद करेंगे
फिर याद करेंगे
फिर याद करेंगे किताबों के पन्ने
आओ सामने बैठे कुछ पल चुनले,
तुम्हारी शरारत भरी नज़रों में
क्या कुछ नहीं पाया हमने,
चुप रहकर भी सब कहना
ये अंदाज़ तुम में ही पाया हमने।
फिर याद करेंगे किताबों के पन्ने
आओ सामने बैठे कुछ पल चुनले,
तुम्हारी बातों को तकिये के नीचे रख
क्या कुछ सुहाने सपने देखे हमने,
सुबह जब भी खोली आँख तुमने
लगा ऐसे जैसे शुभ दिन
की शुरुआत की हमने।
फिर याद करेंगे किताबों के पन्ने
आओ सामने बैठे कुछ पल चुनले।