उपकार
उपकार
"आइए हाथ दीजिए मांझी मैं आपको सड़क पार करवा देती हूं"। स्नेहा जो की स्कूटी से कहीं से आ रही थी ने जब एक बुजुर्ग महिला को सड़क के दूसरी ओर जाने में संघर्ष करते पाया तो, स्कूटी को सड़क के किनारे पार्क कर उन बुजुर्ग महिला की मदद के लिए तुरंत ही आ गई। जैसे ही मांझी को सड़क पार करवाई और वापस स्कूटी की ओर आने के लिए मुड़ी तो देखा ट्रैफिक पुलिस स्नेहा की स्कूटी लेकर जा रही थी। वह दौड़ी ताकि स्पष्टीकरण दे सके, लेकिन तब तक ट्रैफिक पुलिस की गाड़ी पास के ट्रैफिक पुलिस स्टेशन के लिए निकल चुकी थी।
स्नेहा ने तुरंत ही ऑटो किया और पुलिस स्टेशन पहुंचकर अपना स्पष्टीकरण दिया।
ट्रैफिक पुलिस ने सीसीटीवी कैमरे से सत्यता स्थापित होने पर स्नेहा की सराहना करते हुए बिना किसी पेनाल्टी के गाड़ी लौटा दी और ऐसे ही लोगों की मदद करते रहने के लिए प्रोत्साहित करते हुए कहा कि अगली बार से गाड़ी को ध्यान से पार्किंग में ही लगाना।