वियोग
वियोग
वियोग है मुझे,
आपका इंतजार है,
याद आती है पलपल तू,
वियोग कैसे सहूँ मैं,
सामने चेहरा आता है जब जब,
शिकायत आपसे न किया, करो,
चेहरा आपका है सामने,
कभी कभी चांद दिखाय करो,
अब सहा नहीं जाता विरह,
रोज अब मिला करो,
दो दिन की है जिंदगानी,
वियोग मे न जिया करो।

