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Shyam Kunvar Bharti

Tragedy

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Shyam Kunvar Bharti

Tragedy

समय गिन रहा |

समय गिन रहा |

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लोक डाउन हुआ है हर कोई

समय गिन रहा है |

खत्म कब होगा बाहर का बनवास |

हर कोई समय गिन रहा है |

खाये जा रहा डर कोरोना का |

कोई कोरोना योद्धा बन लड़ रहा |

जान की फिक्र नहीं अपनी

वाइरस खात्मे का दवा जड़ रहा |

हर कोई समय गिन रहा है |

जब रहते बाहर घर आने को

मन ललचता था कब जाए|

बीबी बच्चो माँ पिता जी खातिर

कुछ लेकर जाये उनसे मिल पाये|

अब घर मे रहना ही हमे खल रहा |

हर कोई समय गिन रहा है |

बाहर तो खतरा है कोरोना का |

कोई आ ना जाए पोजिटिब कोरोना का |

हर घड़ी भय उसका पल रहा है |

हर कोई समय गिन रहा है |

लगे है सारे चिकित्सक प्रसासन शासन |

लड़ने की जंग कोरोना को भगाएँगे |

प्रधानमंत्री मुख्यमंत्री राज्यमंत्री सभी |

भुजाए अपनी कोरोना तौल रहा है |

हर कोई समय गिन रहा है |

लड़ी लड़ाइया कितनी ये भी जीत लेंगे|

आता जो दुशमन सामने कबका मैदान

मार लिए होते हम सब |

अदृश्य दुश्मन खून सबका खौल रहा है |

हर कोई समय गिन रहा है |

हुआ लोक डाउन सबको साथ निभाना है |

घर मे ही रहना सबको बाहर नहीं जाना है |

खत्म होगी कहानी कोरोना एक दिन |

होगी रौनक बाजार माल मुहल्ले मसिन |

दिल सबका अब ये बोल रहा है |

हर कोई समय गिन रहा है |



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