सच्चा प्यार
सच्चा प्यार
प्यार में अल्फाज़ काम पड़ जाते हैं,
तेरे आते ही मेरे लफ्ज़ जम से जाते हैं।
सालों से देख कर तुझ को सम्हाला
किए है,
पर तेरे दूर चले जाने पे टूट कर बिखर
गए हैं।
मेरा मक़सद बस तुझे अपनाना था,
पर तुझे तो आगे बहुत कुछ और भी
पाना था।
तेरे बड़े बड़े सपने मेरी छोटी दुनिया में
घुट रहे थे,
और हम तुझे लेकर ही हर सपना बुन
रहे थे।
आसान था तेरे लिए बिना पीछे देखे
चले जाना,
और मेरे कदम तब से वही थमे थे।
ऐसा नहीं कि ग़म में तेरे मर गए हम,
बस तुझे याद करते करते जीना भी
सीख गए हम।
वो प्यार ही क्या प्यार हुआ,
जो मार के आसानी से भुला दिया गया।
प्यार तो वो है जो बिना उसके भी
जिंदा दिल में रखा गया।
हर पल जी कर तेरी सलामती की दुआ करते,
याद में तेरी खुद को जला कर रौशनी दिया
करते।
कभी तो बनावटी दुनिया से ऊब जाओगी,
तब तनहा ना होना, मुझे साथ अपने पाओगी।