रौनक
रौनक
है रौनक जिंदगी में मेरी
तुझसे तेरे प्यार से
दमकती है हर सुबह
तेरे दीदार से।
जीवन के घोर अंधेरे में
बन प्रभात तुम आये
सुध बुध अपनी भूली ऐसी
हम तुममय हो जाये।
न वास्ता था रौनक से कभी
जब तेरी दहलीज की
शोभा बन आये
गुलजार जिंदगी हुई
हम खुद पे इतराय।
रौनक हो तुम
जिंदगी के हमारे
है जिंदगी में रौनक
तुमसे ही।

